Placeholder canvas
Hindi

यंग जनरेशन को समझने के लिए ज़रूर देखें ये बॉलीवुड फिल्में

किसी ने सही कहा है कि सिनेमा समाज का आईना है. फिल्में हमारे दिल और दिमाग़ पर अमिट छाप छोड़े जाती हैं. जब हम यह कहते हैं कि फिल्में एक पीढ़ी को परिभाषित कर सकती हैं तो उसका मतलब ये कि फिल्म के किरदार, गाने, दृश्य सभी हमारी सभ्यता को प्रस्तुत करते हैं. बात करते हैं ऐसी फिल्मों की जिसमें हमारी पीढ़ी का प्रतिबिंब मिलेगा.अगर आप मौजूदा पीढ़ी को समझना चाहते हैं तो ज़रूर देखें ये फिल्में.

 1. दिल चाहता है

Sameer in Dil Chahta Hai 

इस फिल्म के तीनों किरदार आकाश, समीर और सिड हमारी पीढ़ी को एकदम सही तरीके से प्रस्तुत करते हैं. इसमें जो बातचीत हैं हमें सच जान पड़ती हैं. इस फिल्म में युवा पीढ़ी का वास्तविक रूप देखने को मिलेगा.

2. क्वीन-

queen

एक साधारण पंजाबी लड़की ‘रानी’ के किरदार से कंगना रनौत ने युवा पीढ़ी के जीवन में होने वाले बदलाव और कॉन्फिडेंस हासिल करने के सफर को बख़ूबी दिखाया है. 

3. रंग दे बसंती-

rang de basanti

5 बेफिक्र दोस्तों की कहानी जिसमें न्याय के लिए आवाज़ उठाने के युवा पीढ़ी के जज़्बे को दिखाया गया इस फिल्म की ही तरह आज का युवा सच के लिए आवाज़ उठाने में नहीं हिचकिचाता.

 4.वेक अप सिड-

wake up sid

इस फिल्म में रणबीर कपूर का किरदार कॉलेज में मौजूद तमाम ऐसे लड़कों के जैसा है जो अपनी ज़िंदगी को लेकर कंफ्यूज़ रहते हैं. जो असल में बड़ा होना चाहते ही नहीं हैं.

 53 इडियट-

3 Idiot Sequel

चेतन भगत के उपन्यास फाइव पॉइन्ट समवन से प्रेरित इस फिल्म में जीवन की सच्चाई को सामने लाया गया है. ये फिल्म हमें हमारे कॉलेज के दिनो की याद दिला देती है. इतना ही नहीं फिल्म में छात्रों से परिवार वालों की अपेक्षा, समाज के बढ़ते प्रेशर और कॉलेज के कठिन दिनों को एकदम उपयुक्त ढंग से दिखाया गया है.

 6.  ज़िंदगी ना मिलेगी दोबारा-

what makes zindagi na milegi dobara a perfect L GCMmz2

इस फिल्म ने हमें जीना सिखाया और बताया कि आख़िर दोस्ती का असली मतलब क्या होता है.

7.  लक्ष्य- ऐसा आज के ज़्यादातर युवाओं के साथ होता है जब वह अपने लिए करियर चुनने में कंफ्यूज़ रहते हैं. ऐसा ही दिखाया गया है ऋतिक रौशन की फिल्म लक्षय में.

8. रॉकस्टार– इस फिल्म में सपने को हक़ीकत बनते दिखाया गया है. प्यार कैसे किसी की ताक़त और कमज़ोरी बन सकता है इस फिल्म में ये बख़ूबी दिखाया गया है.

9. प्यार का पंचनामा- इस फिल्म में कार्तिक आर्यन का 7 मिनट लंबा मोनोलॉग कौन भूल सकता है. इस मोनोलॉग में हर लड़के की स्टोरी छिपी थी जो अपनी गर्लफ्रेंड को ख़ुश रखने और उसके नख़रे सहकर त्रस्त हो चुका है.

10. देव डी- इस फिल्म में दिखाया गया है कि दिल टूटने के बाद आज की जेनेरेशन के लड़के कैसा बर्ताव करते हैं. अभय ने देव का किरदार बहुत ज़बरदस्त तरीके से निभाया है जो दिल टूटने के बाद ड्रग्स और शराब की लत में फंस जाता है.

Manoj L

ad516503a11cd5ca435acc9bb6523536?s=150&d=mm&r=gforcedefault=1

Show More
Back to top button